भारत का फल और सब्जी निर्यात 123 देशों तक पहुँचा, 3 वर्षों में 17 नए बाजार भी जुड़े

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देशभर में फलों और सब्जियों का उत्पादन बढ़ रहा है और इनकी खेती करने वाले किसानों की आय भी बढ़ रही है। ऐसा इसलिए क्योंकि देश में सप्लाई के साथ-साथ किसानों के उत्पाद विदेशों में भी निर्यात हो रहे हैं। आँकड़ों के मुताबिक़ वित्त वर्ष 2023-24 में भारत का ताजे फल और सब्जियों का निर्यात 123 देशों तक पहुंच गया। पिछले 3 वर्षों में, भारतीय ताजा उपज ने 17 नए बाजारों में प्रवेश किया, जिनमें से कुछ प्रमुख देश ब्राजील, जॉर्जिया, युगांडा, पापुआ न्यू गिनी, चेक गणराज्य, युगांडा, घाना आदि हैं। इसे अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेलों में भागीदारी, सक्रिय रूप से बाजार पहुंच की वार्ताओं को आगे बढ़ाने, क्रेता-विक्रेता बैठकों का आयोजन आदि जैसे कई उपायों के माध्यम से हासिल किया गया है। यह जानकारी केंद्रीय वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने लोकसभा में एक लिखित उत्तर में दी है।

उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने बताया कि सरकार निर्यात को बढ़ाने के लिए कई योजनाएँ बनाई और उसपर काम किया जिसका परिणामस्वरूप ही 2019-20 से 2023-24 की अवधि के बीच फलों और सब्जियों के निर्यात की मात्रा में 47.3% की वृद्धि हुई है।
पिछले पांच वर्षों में मात्रा के संदर्भ में 47.30% की वृद्धि हुई है जबकि पिछले पांच वर्षों में मूल्य के संदर्भ में 41.50% की बढ़ोतरी देखी गई है।

पिछले पांच वर्षों में फलों और सब्जियों का निर्यात डेटा 
  
देश: सभी  
उत्पाद: ताजे फल और सब्जियां  
 मूल्य मिलियन अमरीकी डॉलर मेंमात्रा हजार मीट्रिक टन में  
उत्पाद2019-202020-212021-222022-232023-242019-202020-212021-222022-232023-24  
ताजे फल और सब्जियां1,282.431,342.131,527.631,635.951,814.582,659.483,148.083,376.254,335.683,911.95  
स्रोत: डीजीसीआईएस  


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फल सब्ज़ियों के उत्पादन में उत्तर प्रदेश सबसे आगे
उन्होंने बताया कि फल और सब्जियां उगाने वाले प्रमुख राज्य उत्तर प्रदेश, मध्य प्रदेश, पश्चिम बंगाल, महाराष्ट्र, आंध्र प्रदेश, गुजरात, बिहार, तमिलनाडु, ओडिशा, कर्नाटक हैं।

भारत का विश्व को आम और प्याज का निर्यात (विविधता के अनुसार)
उत्पादप्रकारअमरीकी डॉलर मिलियनमात्रा मीट्रिक टन में
2019-202020-212021-222022-232023-242019-202020-212021-222022-232023-24
आमअन्य आम0.0025.4223.4833.2636.180.0015795.0917448.9017257.2823786.16
केसर0.002.926.914.9711.250.00983.732319.081749.973787.01
अल्फांसो (हापुस)0.006.0810.097.848.680.003195.865994.862829.762673.39
बंगनपल्ली0.001.463.012.003.200.00830.551674.04856.911081.68
चौसा0.000.050.050.030.240.0040.9825.6419.72488.26
लंगड़ा0.000.080.160.120.190.0048.99122.1670.0281.94
दशहरी0.000.090.110.060.170.0049.5075.9234.7075.54
तोतापरी0.000.070.170.200.160.0047.47151.01116.6091.95
मल्लिका0.000.030.090.060.070.0041.4061.1628.8138.17
आम, ताजा/सूखे,56.110.000.000.000.0049658.680.000.000.000.00
कुल आम56.1136.2044.0748.5460.1449658.6821033.5727872.7722963.7732104.10
प्याजअन्य प्याज ताजा – ठंडा0.000.000.000.00434.780.000.000.000.001606683.97

गुलाबी प्याज ताजा – ठंडा
0.000.000.000.0038.940.000.000.000.00110755.38
प्याज ताजा – ठंडा324.20378.49460.56561.380.001149896.841578016.571537496.852525258.350.00
कुल प्याज324.20378.49460.56561.38473.721149896.841578016.571537496.852525258.351717439.35
 स्रोत: डीजीसीआईएस
 नोट:- कमोडिटी के (*) चिह्न वाला आईटीसी एचएस कोड या तो हटा दिया गया है या फिर से आवंटित कर दिया गया है

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पिछले तीन वर्षों में नए बाजार तक पहुंच
उन्होंने बताया कि वाणिज्य विभाग नए बाजारों तक पहुंचने के उद्देश्य से बाजार पहुंच वार्ता के लिए कृषि उत्पादों को प्राथमिकता देने में कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के साथ निकट समन्वय में कार्य कर रहा है। परिणामस्वरूप, भारत ने पिछले तीन वर्षों में निम्नलिखित वस्तुओं में नए बाजार तक पहुंच हासिल की है:

  • सर्बिया में भारतीय आलू और प्याज
  • कनाडा में बेबी कॉर्न और ताजा केला
  • ऑस्ट्रेलिया, अमेरिका, सर्बिया और न्यूजीलैंड में अनार छीलकर
  • इरेडिएशन ट्रीटमेंट के माध्यम से ऑस्ट्रेलिया में साबुत अनार

निर्यात में आने वाली समस्याओं के समाधान के लिए ये कदम उठाए

  • भारतीय उत्पादों के लिए बाजार पहुंच का विस्तार करने हेतु कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय तथा कृषि और प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण ने बाजार पहुंच वार्ता को तेज करने के उद्देश्य से प्रमुख उत्पादों व प्रमुख देशों की पहचान की है।
  • लॉजिस्टिक खर्चों को कम करने और बड़ी मात्रा में निर्यात को पूरा करने के लक्ष्य के साथ बागवानी उत्पादों के लिए समुद्री प्रोटोकॉल का कार्यान्वयन।
  • सुविधाओं के पंजीकरण और बाजार पहुंच वार्ता के लिए विदेश में भारतीय मिशनों के सहयोग से आयात करने वाले देशों के समकक्ष अधिकारियों के साथ नियमित अनुवर्ती कार्रवाई करना।
  • कठोर फाइटो-सैनिटरी आवश्यकताओं को पूरा करने के लिए ट्रेसेब्लिटी सिस्टम की स्थापना और किसान और सुविधा पंजीकरण की एक प्रणाली बनाना।

    ये देखें –


Pooja Rai

पूजा राय ने बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (BHU) से पढ़ाई की है।
Lallantop में Internship करने के बाद NewsPotli के लिए कृषि और ग्रामीण भारत से जुड़ी खबरें लिखती हैं।

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