महाराष्ट्र में खरीफ फसलों को भारी नुकसान, किसानों पर संकट बढ़ा

महाराष्ट्र में खरीफ फसलों को भारी नुकसान

महाराष्ट्र में लगातार बारिश और बाढ़ के कारण खरीफ फसलों को भारी नुकसान हुआ है। राज्य के 30 जिलों में करीब 70 लाख एकड़ फसलें प्रभावित हुई हैं, सोयाबीन और कपास सबसे ज्यादा प्रभावित हैं। मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस और कृषि मंत्री दत्तात्रय भरने ने किसानों को वित्तीय मदद का आश्वासन दिया है। वहीं, किसान समूहों ने पूरे कर्ज माफ करने और व्यापक राहत पैकेज की मांग की है।

महाराष्ट्र में लगातार हुई मूसलाधार बारिश ने किसानों की मेहनत पर पानी फेर दिया है। राज्य के 30 जिलों में करीब 70 लाख एकड़ फसलें बाढ़ में डूब गई हैं, जिससे किसानों पर कर्ज बढ़ने और संकट की आशंका बढ़ गई है।

सोयाबीन और कपास प्रभावित
माराठवाड़ा के कई क्षेत्रों में सोयाबीन की फसल सड़ गई है, जबकि कपास फसल को भी बाढ़ ने नुकसान पहुंचाया। उफान पर चल रही नदियाँ और नाले खेतों में घुसकर खड़ी फसलें बहा ले गए। किसानों ने बताया कि बाढ़ से हल, बैलगाड़ी, बीज, अनाज, कुएं और माइक्रो-इरिगेशन सिस्टम भी खराब हो गए। कुछ गाँवों में भारी संख्या में पशुधन की भी हानि हुई।

कितना प्रभावित हुआ खेत
खारिफ सीजन में महाराष्ट्र में करीब 136 लाख हेक्टेयर में बुवाई हुई थी, लेकिन अत्यधिक बारिश ने कई महीने की मेहनत नष्ट कर दी। 1 अगस्त से 22 सितंबर के बीच 195 तालुके और 654 राजस्व क्षेत्रों में भारी फसल नुकसान दर्ज किया गया।

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मुख्यमंत्री ने दिया आश्वासन
मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस ने कहा कि राज्य में इस सीजन 975.5 मिमी बारिश हुई, जो सामान्य से 102% अधिक है। उन्होंने बताया कि बीड़ और धराशिव में बाढ़ के चलते बचाव कार्य जारी हैं। आठ लोगों की मौत और दस घायल हुए। NDRF और SDRF टीमें बचाव में लगी हैं। किसानों को फसल नुकसान का आकलन पूरा होने के बाद वित्तीय मदद मिलेगी।सीएम ने यह भी बताया कि अब तक 31.64 लाख किसानों को सरकार की ओर से ₹2,215 करोड़ की मदद मिल चुकी है।

किसानों की मांग
कृषि मंत्री दत्तात्रय भरने ने कहा कि फसल नुकसान का आकलन अभी चल रहा है। उन्होंने कहा कि जलवायु परिवर्तन के असर साफ दिख रहे हैं और किसानों को जल्द मदद दी जाएगी। दिवाली से पहले सहायता किसानों तक पहुँचाई जाएगी। वहीं, राजनीतिक बहस और किसानों के समूहों ने पूरे कर्ज माफ करने और व्यापक राहत पैकेज की मांग की है, क्योंकि छोटे पैकेज से नुकसान पूरा नहीं होगा।

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Pooja Rai

पूजा राय ने बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (BHU) से पढ़ाई की है।
Lallantop में Internship करने के बाद NewsPotli के लिए कृषि और ग्रामीण भारत से जुड़ी खबरें लिखती हैं।

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