महाराष्ट्र में बाढ़ और अतिवृष्टि से तबाही, करीब 18 लाख हेक्टेयर फसलें बर्बाद

महाराष्ट्र में बाढ़ और अतिवृष्टि से तबाही

महाराष्ट्र में अतिवृष्टि और बाढ़ से 30 जिले प्रभावित हुए हैं, जहां करीब 18 लाख हेक्टेयर में सोयाबीन, कपास, मक्का, दलहन और मूंगफली जैसी फसलें बर्बाद हो गईं। सबसे ज्यादा नुकसान जलगांव और मराठवाड़ा में हुआ है। राज्य सरकार ने किसानों को मुआवजा और राहत राशि जल्द देने का आश्वासन दिया है, जबकि IMD ने कई जिलों में ऑरेंज अलर्ट जारी किया है।

महाराष्ट्र इस समय भीषण प्राकृतिक आपदा से जूझ रहा है। पिछले एक महीने से जारी अतिवृष्टि और 10 सितंबर के बाद आई बाढ़ ने हालात बेहद गंभीर बना दिए हैं। राज्य के 36 में से 30 जिले प्रभावित हैं और अब तक करीब 18 लाख हेक्टेयर में फैली खरीफ फसलें बर्बाद हो चुकी हैं। यह नुकसान पंजाब की तुलना में 10 गुना ज्यादा है, जहां लगभग 2 लाख हेक्टेयर में फसलें प्रभावित हुई थीं।

इन क्षेत्रों में ज़्यादा नुक़सान
सबसे ज्यादा नुकसान खानदेश और मराठवाड़ा क्षेत्रों में हुआ है। खानदेश का जलगांव जिला सबसे अधिक प्रभावित है, जबकि मराठवाड़ा के संभाजीनगर (औरंगाबाद), बीड़, जालना, लातूर, नांदेड़ और धाराशिव में भी भारी नुकसान दर्ज किया गया है। सरकारी रिपोर्ट के मुताबिक, राज्य के 200 तालुकों में सोयाबीन, कपास, मक्का, अरहर और मूंगफली जैसी फसलें बुरी तरह प्रभावित हुई हैं। अकेले जलगांव में 15–16 सितंबर की बारिश से 400 से अधिक पशुओं की मौत हो चुकी है।

ये भी पढ़ें – भारी बारिश से फसलों पर संकट, एग्रोमेट ने किसानों के लिए जारी की एडवाइजरी

सितंबर के नुकसान का आंकलन जारी
आपदा प्रबंधन मंत्री गिरीश महाजन ने प्रभावित इलाकों का दौरा कर कहा कि सरकार किसानों और ग्रामीणों के साथ पूरी मजबूती से खड़ी है और हर नुकसान का मुआवजा दिया जाएगा। कृषि मंत्री दत्तात्रय भरणे ने बताया कि अगस्त में हुए नुकसान का मुआवजा पहले ही किसानों को मिल चुका है और सितंबर के नुकसान का आंकलन जारी है, जिसके बाद राहत राशि तुरंत दी जाएगी।

दशहरे तक आर्थिक सहायता सीधे ट्रांसफर कर दी जाएगी
विशेषज्ञों का कहना है कि महाराष्ट्र में दलहन और तिलहन फसलों का भारी नुकसान राष्ट्रीय स्तर पर भी संकट खड़ा कर सकता है। राज्य सरकार ने मानसून से जुड़ी बीमारियों से बचाव के लिए एडवाइजरी जारी की है। उपमुख्यमंत्री अजीत पवार ने कहा कि दशहरे (2 अक्टूबर 2025) तक किसानों के खातों में आर्थिक सहायता सीधे ट्रांसफर करने का प्रयास किया जा रहा है।

इस बीच, भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) ने रायगढ़, पुणे घाट और छत्रपति संभाजीनगर समेत कई जिलों में ऑरेंज अलर्ट जारी किया है और प्रशासन को सतर्क रहने के निर्देश दिए हैं।

ये देखें –

Pooja Rai

पूजा राय ने बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (BHU) से पढ़ाई की है।
Lallantop में Internship करने के बाद NewsPotli के लिए कृषि और ग्रामीण भारत से जुड़ी खबरें लिखती हैं।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *