शिवराज सिंह चौहान

इंटीग्रेटेड फार्मिंग से ही बढ़ेगी किसानों की आय : शिवराज सिंह चौहान

केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने बेंगलुरु में आईसीएआर संस्थानों का दौरा कर किसानों और वैज्ञानिकों से संवाद किया। उन्होंने कहा कि भारत अब किसी पर निर्भर नहीं रहेगा और किसानों की आय बढ़ाने के लिए इंटीग्रेटेड फार्मिंग जरूरी है। चौहान ने पेस्टीसाइड के अधिक उपयोग को खतरनाक बताते हुए जैविक नियंत्रण पर ज़ोर दिया। उन्होंने कहा कि डेटा एनालिसिस से पशुओं की बीमारियों की समय रहते पहचान कर वैक्सीनेशन किया जा रहा है। साथ ही केले की विशेष किस्म ‘नंजनगुड रसाबले’ को सुरक्षित रखने के लिए वैज्ञानिक टीम भेजने की घोषणा की।

पूरी र‍िपोर्ट
भारत

भारत में डेयरी सिर्फ बिजनेस नहीं, करोड़ों किसानों की जीवनरेखा है: आरएस सोढ़ी

इंडियन डेयरी एसोसिएशन के अध्यक्ष आरएस सोढ़ी ने कहा कि भारत को अपने डेयरी सेक्टर की हर हाल में सुरक्षा करनी होगी क्योंकि यह सीधे 8 करोड़ परिवारों की आजीविका से जुड़ा है। उन्होंने बताया कि 2047 तक भारत 628 मिलियन टन दूध का उत्पादन करेगा, जो वैश्विक उत्पादन का 45% होगा। सोढ़ी के मुताबिक किसानों की आय बढ़ाने का समाधान दूध के दाम बढ़ाने में नहीं बल्कि उत्पादन क्षमता में सुधार करने में है। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर भारत को दूध आयात करना पड़ा तो वैश्विक मांग अचानक 24% बढ़ जाएगी और कीमतें दोगुनी हो सकती हैं। इसलिए किसानों और उपभोक्ताओं दोनों के हित में भारत को अपने डेयरी सेक्टर की रक्षा करनी जरूरी है।

पूरी र‍िपोर्ट
कृषि मंत्री

पीली मटर के जीरो आयात शुल्क पर कृषि मंत्री ने जताई चिंता

कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने पीली मटर के लगातार फ्री आयात और इससे घरेलू दालों की कीमतों पर पड़ रहे नकारात्मक असर पर चिंता जताई है। उन्होंने किसानों के हित में इस पर 50% आयात शुल्क लगाने की मांग की है।दिसंबर 2023 से अब तक 3.5 मीट्रिक टन से ज्यादा पीली मटर आयात हो चुकी है और यह छूट 31 मार्च 2026 तक जारी है।भारतीय दलहन और अनाज संघ और CACP दोनों ने आयात रोकने या शुल्क बढ़ाने की सिफारिश की है, ताकि घरेलू बाजार स्थिर रहे और किसानों को दाल उत्पादन के लिए प्रोत्साहन मिले।

पूरी र‍िपोर्ट
भारत-भूटान

पशुधन, अनुसंधान और खेती में सहयोग बढ़ाएंगे भारत-भूटान

भारत और भूटान ने कृषि और संबद्ध क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने के लिए थिम्फू में समझौता ज्ञापन (MoU) पर हस्ताक्षर किए। इसके तहत दोनों देश कृषि अनुसंधान, तकनीक, पशुधन स्वास्थ्य, खाद्य प्रसंस्करण और किसानों के कौशल विकास जैसे क्षेत्रों में मिलकर काम करेंगे। इस समझौते को लागू करने के लिए संयुक्त तकनीकी कार्य समूह (JTWG) का गठन किया गया है, जिसकी पहली बैठक थिम्फू में हुई और अगली बैठक भारत में होगी।

पूरी र‍िपोर्ट
यूपी में बाढ़ का कहर

यूपी में बाढ़ का कहर: 43 जिले प्रभावित, योगी सरकार ने संभाली राहत और बचाव की कमान

इस साल मानसून में उत्तर प्रदेश के 43 जिले बाढ़ की चपेट में आए, जिससे 9.55 लाख से ज्यादा लोग प्रभावित हुए। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने स्वयं हालात पर नजर रखी और मंत्रियों को जिलों में राहत कार्य की जिम्मेदारी सौंपी। सरकार ने अब तक 1,00,404 लोगों को सुरक्षित पहुंचाया, 1.82 लाख खाद्यान्न व 10.30 लाख लंच पैकेट, पशुओं के लिए 14,740 क्विंटल भूसा, और स्वास्थ्य हेतु क्लोरीन टैबलेट, ओआरएस, टीके उपलब्ध कराए। मौजूदा समय में प्रभावित जिलों की संख्या घटकर 18 रह गई है और सरकार ने हर पीड़ित के साथ खड़े रहने का आश्वासन दिया है।

पूरी र‍िपोर्ट
बिहार

बिहार में मखाना किसानों को बड़ी सौगात, 16 जिलों में खेती के विस्तार के लिए किसानों को मिलेगी 75% सब्सिडी

बिहार सरकार ने मखाना की खेती को बढ़ावा देने के लिए मखाना अवयव योजना शुरू की है। इस पर दो साल में करीब 17 करोड़ रुपये खर्च होंगे। योजना से राज्य के 16 जिलों के किसान लाभान्वित होंगे। किसानों को मखाना की खेती पर 75% यानी 72,750 रुपये प्रति हेक्टेयर अनुदान मिलेगा और पारंपरिक उपकरण किट पर भी 75% सहायता दी जाएगी। इसके अलावा किसानों को उन्नत किस्मों के बीज उपलब्ध कराए जाएंगे।

पूरी र‍िपोर्ट
मराठवाड़ा और विदर्भ में सबसे ज्यादा नुकसान

महाराष्ट्र में बारिश से 8 लाख हेक्टेयर फसल बर्बाद, मराठवाड़ा और विदर्भ में सबसे ज्यादा नुकसान

महाराष्ट्र में अगस्त की ज्यादा बारिश से करीब 8 लाख हेक्टेयर फसलें बर्बाद हो गईं, जिनमें मराठवाड़ा, विदर्भ, पश्चिमी और उत्तर महाराष्ट्र सबसे ज्यादा प्रभावित हैं। नांदेड और वाशीम जिले में सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है। कपास, सोयाबीन, तुर, मक्का और अनार की फसलें बुरी तरह प्रभावित हुई हैं। किसानों का कहना है कि नुकसान का सही आकलन नहीं हुआ और पिछली बीमा राशि भी अब तक नहीं मिली। सरकार ने सर्वे कर मुआवजा देने का आश्वासन दिया है।

पूरी र‍िपोर्ट
गेहूं भंडारण

गेहूं भंडारण सीमा घटी, हर हफ्ते बताना होगा स्टॉक

सरकार ने गेहूं की भंडारण सीमा घटाई है ताकि दाम नियंत्रित रहें और जमाखोरी रोकी जा सके। अब खुदरा दुकानदार व बड़ी रिटेल चेन प्रति आउटलेट 8 टन, थोक व्यापारी 2,000 टन और आटा मिलें अपनी क्षमता के अनुसार ही स्टॉक रख पाएंगी। कारोबारियों को हर शुक्रवार ऑनलाइन स्टॉक बताना होगा, वरना कार्रवाई होगी। यह कदम त्योहारों से पहले कीमतें स्थिर रखने और खाद्य सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए उठाया गया है। यह नियम 31 मार्च 2026 तक लागू रहेगा।

पूरी र‍िपोर्ट
ड्यूटी-फ्री कपास आयात

भारत में ड्यूटी-फ्री कपास आयात की अवधि 31 दिसंबर 2025 तक बढ़ी

भारत सरकार ने कपास के ड्यूटी-फ्री आयात की समयसीमा 30 सितंबर से बढ़ाकर 31 दिसंबर 2025 कर दी है। इससे अक्टूबर-दिसंबर में आयात दोगुना होकर करीब 20 लाख गांठ होने की उम्मीद है। यह कदम टेक्सटाइल उद्योग को राहत देने के लिए है, क्योंकि घरेलू दाम अंतरराष्ट्रीय बाजार से लगभग 20% ज़्यादा हैं और अमेरिका ने भारतीय निर्यात पर 50% टैरिफ लगाया है। ब्राज़ील से आयात तेजी से बढ़ा है और इससे दक्षिण भारत की मिलों को सस्ती कपास मिलेगी।

पूरी र‍िपोर्ट
जय सिंह

आलू की खेती की मास्टरक्लास, जय सिंह की 40 साल की खेती का अनुभव

उत्तर प्रदेश के बहराइच ज़िले के प्रगतिशील किसान जय सिंह 40 साल से आलू और केले की खेती कर रहे हैं। वे खेत को तीन बार रोटावेटर से तैयार कर गोबर की खाद डालते हैं। उन्होंने बताया कि एक एकड़ में 12–15 क्विंटल बीज आलू (40–50 ग्राम) लगता है, जिसे उपचार के बाद बोया जाता है। पहली सिंचाई हल्की और बाद में पौधों की छतरी बनने पर पानी दिया जाता है। खाद में NPK, यूरिया, मैग्नीशियम और जिंक का संतुलन उनकी पैदावार को बेहतर बनाता है।

पूरी र‍िपोर्ट