यूपी सरकार ने रबी सीजन 2025-26 के लिए किसानों को पर्याप्त बीज और खाद उपलब्ध कराने की तैयारी की है। लाखों मिनीकिट और सब्सिडी वाले बीज बांटे जा चुके हैं। उर्वरकों का स्टॉक भी पर्याप्त है। कालाबाजारी रोकने के लिए हजारों छापे मारकर कई लाइसेंस निलंबित और FIR दर्ज की गई हैं। सरकार का लक्ष्य है कि किसानों को समय पर अच्छी क्वालिटी का बीज और खाद मिले।
उत्तर प्रदेश सरकार ने रबी सीजन 2025-26 में किसानों को समय से बीज और खाद उपलब्ध कराने के लिए इस बार व्यापक तैयारी की है। सरकार ने इस सीजन में किसानों को सब्सिडी पर 11.12 लाख क्विंटल बीज देने का लक्ष्य तय किया है, जिसमें गेहूं, जौ, चना, मटर, मसूर, तोरिया, सरसों, राई और अलसी जैसी सभी प्रमुख फसलें शामिल हैं। इनमें से 81% बीज उपलब्ध कराए जा चुके हैं और 69% से ज्यादा बीज किसानों तक पहुंच भी चुके हैं।
इतना मिनीकिट देने का लक्ष्य
दलहनी फसलों को बढ़ावा देने के लिए राज्य सरकार ने 92,518 मिनीकिट देने का लक्ष्य रखा था, जिनमें से 76,258 मिनीकिट किसानों में बांटे जा चुके हैं। वहीं केंद्र सरकार से मिले 2,26,400 मिनीकिट में से 1,14,697 मिनीकिट की आपूर्ति हो चुकी है। सरसों और राई के लिए तय किए गए 4.96 लाख मिनीकिट में से 4.92 लाख उपलब्ध हैं और लगभग 3.94 लाख मिनीकिट किसानों को मिल चुके हैं। इसके अलावा नेशनल मिशन ऑन एडिबल ऑयल्स के तहत गन्ने के साथ अंतर-फसली खेती को बढ़ावा देने के लिए 5,700 क्विंटल सरसों का बीज किसानों को मुफ्त दिया जा रहा है।
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खाद की उपलब्धता
खाद की उपलब्धता के मामले में भी स्थिति संतोषजनक है। 1 अक्टूबर से 13 नवंबर 2025 तक प्रदेश में 17.41 लाख टन यूरिया, 10 लाख टन DAP, 7.56 लाख टन NPK, 4.09 लाख टन SSP और 1.51 लाख टन MOP उपलब्ध रहा। इसी अवधि में इन उर्वरकों की बड़ी मात्रा में बिक्री हुई और 14 नवंबर तक प्रदेश में अभी भी 12.59 लाख टन यूरिया, 3.76 लाख टन DAP, 3.94 लाख टन NPK, 2.65 लाख टन SSP और 0.81 लाख टन MOP का स्टॉक सुरक्षित है। सहकारी और निजी दोनों सेक्टर में पर्याप्त खाद मौजूद है। सिर्फ अक्टूबर महीने में 2.40 लाख टन यूरिया, 3.70 लाख टन DAP और 2.02 लाख टन NPK की बिक्री हुई, जबकि 1 से 13 नवंबर के बीच 1 करोड़ से अधिक किसानों ने POS मशीन से खाद की खरीद की, जिससे पूरे सिस्टम में पारदर्शिता बढ़ी है।
सरकार ने सख्त कदम उठाए
खाद की कालाबाजारी, जमाखोरी और ओवररेटिंग रोकने के लिए सरकार ने सख्त कदम उठाए हैं। अब तक 27,315 छापे मारे गए हैं, 5,291 नमूने जांच के लिए भेजे गए हैं, 1,005 लाइसेंस निलंबित हुए और 1,314 लाइसेंस रद्द किए गए हैं। प्रदेशभर में 62 दुकानों को सील किया गया है और 192 FIR दर्ज की गई हैं। सरकार का स्पष्ट कहना है कि किसानों के हितों के खिलाफ कोई भी लापरवाही या कालाबाजारी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। रबी सीजन की तैयारियां जिलों और मंडलों में युद्धस्तर पर की जा रही हैं ताकि किसानों को समय पर गुणवत्तापूर्ण बीज और खाद मिल सके और बुवाई में किसी तरह की दिक्कत न आए।
ये देखें –
पूजा राय ने बनारस हिंदू विश्वविद्यालय (BHU) से पढ़ाई की है।
Lallantop में Internship करने के बाद NewsPotli के लिए कृषि और ग्रामीण भारत से जुड़ी खबरें लिखती हैं।